भारतीय ऑटोमोबाइल दिग्गज टाटा मोटर्स के शेयरों में बीते कारोबारी सप्ताह में करीब 9% की जबरदस्त गिरावट देखी गई। इस गिरावट की मुख्य वजह कंपनी के मार्च तिमाही के निराशाजनक वित्तीय परिणाम रहे, जो निवेशकों को प्रभावित करने में विफल रहे।
टाटा मोटर्स के मार्केट कैप में भारी कमी आई और यह लगभग ₹29,950 करोड़ गिरकर ₹3,17,998 करोड़ रह गया। विस्तृत वित्तीय आंकड़ों पर नज़र डालें तो कंपनी ने वित्त वर्ष 2024 की चौथी तिमाही में समेकित शुद्ध लाभ में तीन गुना की बढ़ोतरी दर्ज की, जो ₹17,528.59 करोड़ रहा। यह मुख्य रूप से जगुआर लैंड रोवर सहित कंपनी के ऑटो बिजनेस के बेहतर प्रदर्शन की वजह से संभव हो पाया।
हालांकि, कंपनी को अपने वाणिज्यिक वाहनों की बिक्री में वित्त वर्ष 2025 तक स्थिरता या मामूली गिरावट की उम्मीद है। इसके अलावा, 31 मार्च तक जगुआर की ऑर्डर बुक घटकर 1,33,000 यूनिट रह गई, जो दिसंबर के अंत में 1,48,000 यूनिट थी।
शेयर बाजार पर असर
टाटा मोटर्स के नतीजों का शेयर बाजार पर व्यापक असर देखने को मिला। बीएसई सेंसेक्स 161 अंक की गिरावट के साथ 72,504 पर और एनएसई निफ्टी 35 अंक नीचे 22,022 पर कारोबार करते दिखे।
टाटा मोटर्स बीएसई सेंसेक्स और एनएसई निफ्टी दोनों में सबसे खराब प्रदर्शन करने वाली कंपनी रही। अन्य प्रमुख शेयरों में JSW स्टील, टाटा स्टील, NTPC, भारतीय स्टेट बैंक, पावर ग्रिड और महिंद्रा एंड महिंद्रा शामिल रहे। सन फार्मा इस पैक से एकमात्र शेयर था जिसमें तेजी देखने को मिली।
भविष्य की रणनीति
टाटा मोटर्स के लिए यह अहम है कि वह अपने ऑटो बिजनेस को पुनर्जीवित करने पर ध्यान केंद्रित करे। कंपनी को अपने उत्पाद पोर्टफोलियो को मजबूत करने, नए बाजारों में प्रवेश करने और लागत में कटौती पर ध्यान देने की जरूरत है।
साथ ही, जगुआर लैंड रोवर को भी अपनी रणनीति पर पुनर्विचार करने और मांग को पुनर्जीवित करने के तरीके खोजने होंगे। इलेक्ट्रिक और हाइब्रिड वाहनों पर फोकस बढ़ाना इसमें मददगार हो सकता है।
निष्कर्ष
टाटा मोटर्स के शेयरों में हाल की गिरावट निवेशकों के लिए चिंता का विषय है। हालांकि, लंबी अवधि में कंपनी के पास वृद्धि की अच्छी संभावनाएं हैं। बाजार की स्थितियों में सुधार और कंपनी की भविष्य की रणनीति इसके शेयरों के प्रदर्शन को प्रभावित करेगी।
निवेशकों को चाहिए कि वे धैर्य रखें और कंपनी के प्रदर्शन पर नजर बनाए रखें। बाजार में अल्पकालिक उतार-चढ़ाव आम हैं, लेकिन दीर्घकालिक संभावनाओं पर ध्यान देना महत्वपूर्ण है।
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